NEET UG 2025 – NEET UG 2025 का रिजल्ट आ चुका है और अब बारी है सबसे अहम पड़ाव की – काउंसलिंग की। स्टूडेंट्स अब सोच रहे हैं कि कौन सा मेडिकल कॉलेज चुना जाए जहां अच्छी पढ़ाई मिले, फीस भी कम हो और भविष्य भी उज्जवल बने। ऐसे में मध्य प्रदेश के सरकारी मेडिकल कॉलेज आपके लिए एक दमदार विकल्प साबित हो सकते हैं।
यहां हम बात कर रहे हैं एमपी के उन टॉप 5 गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेजों की, जहां कम रैंक और कम खर्च में MBBS करने का सपना पूरा किया जा सकता है।
एम्स भोपाल – टॉप क्लास पढ़ाई, नाममात्र की फीस
अगर आप NEET में अच्छा स्कोर लाए हैं और देश के नामी संस्थानों में पढ़ना चाहते हैं तो एम्स भोपाल आपके लिए सबसे बेहतरीन चॉइस है।
- NIRF रैंकिंग 2024 में यह कॉलेज ऑल इंडिया में 31वें नंबर पर है।
- यहां MBBS कोर्स की सालाना फीस मात्र 10-11 हजार रुपये है।
- पूरे कोर्स पर कुल खर्चा 25 से 30 हजार रुपये के आसपास आता है।
- NEET 2024 में जनरल कैटेगरी के लिए रैंक 79 से 510 के बीच रही, OBC के लिए 992, SC के लिए 5850 और ST के लिए 15645 तक की रैंक वालों को एडमिशन मिला।
मतलब अगर आपका स्कोर अच्छा है तो नामी कॉलेज में नाममात्र की फीस में MBBS करने का सपना पूरा हो सकता है।
गांधी मेडिकल कॉलेज, भोपाल – राजधानी का भरोसेमंद मेडिकल कॉलेज
राजधानी भोपाल में स्थित गांधी मेडिकल कॉलेज भी एक बेहतरीन विकल्प है।
- यहां नीट में 8000 तक रैंक लाने वाले स्टूडेंट्स को MBBS में एडमिशन मिल जाता है।
- पूरे साढ़े पांच साल के कोर्स की कुल फीस करीब 4.5 लाख रुपये है।
- फीस थोड़ी ज्यादा जरूर है लेकिन पढ़ाई और मेडिकल सुविधाएं काफी अच्छी हैं।
अगर आपका रैंक थोड़ा नीचे है और फिर भी राजधानी में पढ़ना है तो यह कॉलेज सही रहेगा।
नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज, जबलपुर – पुराना और भरोसेमंद संस्थान
1955 में स्थापित यह कॉलेज मध्यप्रदेश के पुराने और प्रतिष्ठित मेडिकल कॉलेजों में से एक है।
- MBBS कोर्स की सालाना फीस लगभग 1.14 लाख रुपये है।
- यहां 13 हजार तक रैंक लाने वाले स्टूडेंट्स को दाखिला मिल जाता है।
- कॉलेज में अच्छी लैब्स, हॉस्टल और टीचिंग फैसिलिटीज मिलती हैं।
जिन स्टूडेंट्स की रैंक थोड़ी कम है लेकिन सरकारी कॉलेज में एडमिशन चाहते हैं, उनके लिए ये कॉलेज एक मजबूत विकल्प हो सकता है।
गजरा राजा मेडिकल कॉलेज, ग्वालियर – इतिहास और आधुनिकता का संगम
यह मध्यप्रदेश का सबसे पुराना और देश का 17वां मेडिकल कॉलेज है।
- MBBS में 200 सीटें हैं और सालाना फीस करीब 1 लाख रुपये है।
- नीट 2024 की राउंड 3 में जनरल कैटेगरी के लिए 9629 रैंक पर एडमिशन मिला था।
- कॉलेज में पढ़ाई का माहौल, टीचिंग स्टाफ और क्लिनिकल एक्सपोजर काफी अच्छा है।
ग्वालियर में रहकर सस्ती और अच्छी मेडिकल पढ़ाई का बढ़िया मौका मिल सकता है।
महात्मा गांधी मेमोरियल मेडिकल कॉलेज, इंदौर – एमपी का गौरव
इस कॉलेज की शुरुआत 1878 में हुई थी और इसे 1948 में मेडिकल कॉलेज का दर्जा मिला।
- यहां का महाराजा यशवंतराव हॉस्पिटल 3000 बेड्स वाला सुपर स्पेशलिटी अस्पताल है।
- MBBS की सालाना फीस लगभग 1.14 लाख रुपये है।
- नीट स्टेट कोटे के तहत 8147 रैंक तक वालों को पहले राउंड में एडमिशन मिल जाता है।
इंदौर शहर के मॉडर्न इंफ्रास्ट्रक्चर और मेडिकल एक्सपोजर के साथ यह कॉलेज करियर की शानदार शुरुआत देने वाला है।
कौन लें इन कॉलेजों में दाखिला?
अगर आप मध्य प्रदेश के निवासी हैं, तो इन कॉलेजों में एडमिशन लेना आपके लिए फायदेमंद रहेगा – क्योंकि फीस भी कम होगी और स्टेट कोटे में सीट मिलने के चांस भी ज्यादा होंगे। लेकिन अगर आप बाहर के राज्य से हैं, फिर भी अच्छे रैंक के साथ इनमें मौका पा सकते हैं।
NEET का रिजल्ट आ चुका है, अब जरूरत है समझदारी से काउंसलिंग में सही कॉलेज चुनने की। ऊपर बताए गए सभी कॉलेजों में सरकारी मान्यता है, फीस बहुत कम है और पढ़ाई का स्तर भी दमदार है।
अगर आपका सपना डॉक्टर बनने का है, और बजट कम है, तो MP के ये सरकारी मेडिकल कॉलेज आपके सपने को साकार कर सकते हैं।